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    21.06.2023 : अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस, विधान मंडल, मुंबई

    प्रकाशित तारीख: June 21, 2023

    अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस, विधान मंडल, मुंबई

    श्री एकनाथ शिंदे, मुख्यमंत्री

    श्री देवेंद्र फडणवीस, उपमुख्यमंत्री

    श्री राहुल नार्वेकर, अध्यक्ष विधान सभा

    सम्मानित सदस्य विधान सभा तथा विधान परिषद

    अधिकारी तथा कर्मचारी

    भाईयों और बहनों,

    अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर मैं आपको हार्दिक बधाई देता हूं।

    मैं महाराष्ट्र विधान सभा के माननीय अध्यक्ष श्री राहुल नार्वेकर जी को विधान मंडल परिसर में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के आयोजन में उनकी पहल के लिए बधाई देता हूं।

    यह ख़ुशी की बात है कि माननीय मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री और अन्य वरिष्ठ मंत्री योग कार्यक्रम में भाग ले रहे हैं। यह दर्शाता है कि महाराष्ट्र योग को अत्यधिक महत्व देता है।

    बहनों और भाइयों,

    दिनांक 27 सितंबर 2014 को संयुक्त राष्ट्र महासभा में अपने संबोधन में, भारत के माननीय प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने संयुक्त राष्ट्र से 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस घोषित करने की अपील की थी।

    हमारे प्रधान मंत्री द्वारा किये गए आह्वान पर, संयुक्त राष्ट्र ने 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के रूप में घोषित किया।

    आज रिकॉर्ड 192 देश विश्व योग दिवस मना रहे है।

    आज के इस दिन चीन, अमेरिका, ब्रिटेन, रूस, दक्षिण अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और अफ्रीकी देशों के लोगों योगाभ्यास कर राहे है। यह नजारा देखकर हर भारतीय गर्व से भर जाता है।

    अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस भगवान शिव जी की याद दिलाता है जिन्हे महान योगी माना जाता है।

    हमारे देश के अनेक संतों और ऋषियों ने योग का आविष्कार किया और पीढ़ी दर पीढ़ी इसके सार को आगे बढ़ाया।

    योग भारत की विश्व को देन है। इस महान अमूर्त विरासत के प्राप्तकर्ता के रूप में, यह हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है कि हम योग का अभ्यास करें और दुनिया में योग का प्रचार भी करें।

    दुनिया भारत की ओर योग प्रशिक्षक मुहैया कराने के लिए देख रही है जो अगली पीढ़ी को योग सिखाएंगे।

    मुझे लगता है कि भारत को इस क्षण का लाभ उठाना चाहिए और दुनिया के लिए सर्वश्रेष्ठ योग प्रशिक्षक तैयार करने चाहिए, जो योग की शुद्धता को बनाए रखेंगे।

    दोस्तों,

    योग केवल शरीर को स्वस्थ रखने के लिए महज शारीरिक व्यायाम नहीं है। योग शब्द संस्कृत धातु ‘युज’ से आया है जिसका अर्थ है जुड़ना। आत्मा का परमात्मा से जुडना यानी योग।

    आज हमारा समाज तेजी से असहिष्णु होता जा रहा है। धार्मिक और सांप्रदायिक नफरत बढ रही है। योग द्वारा हम हर मन में सहनशीलता का बीज बो सकते हैं। जैसे ही ये बीज अंकुरित होंगे, हमारे पास एक पूर्ण विकसित मानव होगा, जो सभी मनुष्यों के विचार, क्षेत्र, धर्म, दर्शन और दृष्टिकोण का सम्मान करेगा।

    मेरा मानना है कि योग के अभ्यास से आत्म-संयम और सहनशीलता का विकास होता है।

    वह हमें शांतिपूर्ण और सामंजस्यपूर्ण समाज और समुदाय बनाने में मदद कर सकता है।

    आज हम हर स्तर पर तनाव देखते हैं। बुजुर्ग तनावग्रस्त हैं, युवा तनावग्रस्त हैं। माताएं तनाव में हैं और बेटियां भी तनाव में हैं। छात्र और बच्चे भी परेशान हैं। तनाव हमारे व्यक्तिगत और निजी जीवन में तबाही मचा रहा है।

    यह बड़ी चिंता का विषय है कि भारत में मधुमेह और जीवनशैली से जुड़ी अन्य बीमारियों का बोझ खतरनाक गति से बढ़ रहा है। योग मधुमेह की महामारी को फैलने से रोकने में हमारी मदद कर सकता है।

    भारत की सबसे बड़ी ताकत उसकी युवा शक्ति है। हमारे पास दुनिया की सबसे बड़ी युवा आबादी है। योग इस युवा शक्ति के शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक सशक्तिकरण में मदद कर सकता है। यह हमें स्वस्थ भारत के लक्ष्य को प्राप्त करने में मदद कर सकता है।

    हमें एक भव्य योग विश्वविद्यालय बनाने का प्रयास करना चाहिए, जो भारत के हार्वर्ड या कैम्ब्रिज जैसा होगा।

    हमें समाज के सभी वर्गों विशेषकर युवाओं की अधिक से अधिक सक्रिय भागीदारी के साथ अब तक उत्पन्न गति को आगे बढ़ाना है। बेहतर शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य और सामाजिक सद्भाव के लिए योग के लाभों पर प्रकाश डालते हुए योग को एक जन आंदोलन बनाने के लिए हमारे सभी प्रयास किए जाने चाहिए।

    मुझे चिंता है कि हमारे कुछ युवा व्यसनों के शिकार हो रहे हैं। योग युवाओं को इस तरह के व्यसनों का शिकार बनने से रोक सकता है।

    आयुष मंत्रालय ने एक सामान्य योग प्रोटोकॉल तैयार किया है। सभी सरकारी कर्मचारियों के उत्पादकता में सुधार के लिए प्रत्येक कार्यालय में 15 मिनट का योग सत्र होना चाहिए।

    चांसलर के रूप में, मैं विश्वविद्यालयों से यह सुनिश्चित करने का आह्वान करूंगा कि विश्वविद्यालय के सभी विभागों और सभी संबद्ध कॉलेजों ने युवाओं को सामान्य योग प्रोटोकॉल सिखाने के लिए प्रशिक्षित किया है।

    मैं आप सभी से अपील करूंगा कि योग को अपने दैनिक जीवन का हिस्सा बनाएं। इस दिन को एक नए जीवन की शुरुआत होने दें, जो स्वास्थ्य, अच्छे विचारों और ईश्वर भक्ति से भरा हो।

    इन्हीं शब्दों के साथ, मैं अध्यक्ष श्री राहुल नार्वेकर और अन्य सभी आयोजकों को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाने के लिए बधाई देता हूं।

    मैं सभी के अच्छे स्वास्थ्य, सुख और समृद्धि की कामना करता हूं।

    जय हिंद। जय महाराष्ट्र।।