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    18.03.2023 : सेवा सहयोग फाउंडेशन द्वारा आयोजित ‘सी – ट्वेन्टी चौपाल’, (सिव्हिल सोसायटी संवाद) ; वेलिंगकर इन्स्टिट्यूट, माटुंगा, मुंबई

    प्रकाशित तारीख: March 18, 2023

    सेवा सहयोग फाउंडेशन द्वारा आयोजित ‘सी – ट्वेन्टी चौपाल’, (सिव्हिल सोसायटी संवाद) ; वेलिंगकर इन्स्टिट्यूट, माटुंगा, मुंबई

    श्री मंगल प्रभात लोढा, मंत्री, पर्यटन, कौशल विकास एवं महिला व बालकल्याण विभाग

    श्री प्रवीण परदेसी, सीईओ, मित्रा, (महाराष्ट्र इंस्टीट्यूशन फॉर ट्रान्सफॉर्मेशन)

    श्री अतुल नागरस, संचालक, सेवा सहयोग फाउंडेशन

    डॉ अलका मांडके, ट्रस्टी, सेवा इंटरनेशनल

    एड. सदानंद फडके, अध्यक्ष, शिक्षण प्रसारक मंडली

    श्री किशोर मोघे, संचालक, सेवा सहयोग

    श्री आनंद तथा श्रीमती अनुश्री भिडे

    विभिन्न कंपनियों के सीएसआर हेड, मुख्य वित्तीय अधिकारी, शिक्षा क्षेत्र से जुड़े महानुभाव

    गैर शासकीय संगठनों के प्रमुख,

    अभिभावक गण

    भाइयों और बेहेनों,

    भारत देश इस वर्ष जी – ट्वेंटी की अध्यक्षता कर रहा है और हम सब अलग-अलग माध्यमों से इस आयोजन से जुड़ रहे हैं ।

    सिव्हिल सोसायटी सहयोग के लिये आयोजित C-20 (सी ट्वेन्टी) चौपाल भी उसी का एक अंग है ।

    आज के इस ‘सी – ट्वेन्टी चौपाल’ आयोजन के लिए मैं सर्व प्रथम सेवा सहयोग फाउंडेशन को हार्दिक बधाई देता हूँ और सभी उपस्थित महानुभावों का अभिनंदन करता हूं ।

    देश के विकास में सामाजिक संगठनों की भूमिका महत्वपूर्ण होती है । इसे थर्ड सेक्टर भी कहते है ।

    हम अक्सर कॉर्पोरेट्स के सामाजिक दायित्व की बात करते है, जिसे हम CSR कॉर्पोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी बोलते है ।

    लेकिन कॉर्पोरेट्स के अलावा हमारा निजी सामाजिक दायित्व भी होता है, और होना भी चाहिए, जिसे हम इंडिविजुअल सोशल रिस्पॉन्सिबिलिटी कह सकते है ।

    श्रीमती अनुश्री भिडे ने निजी सामाजिक दायित्व का अनुपम उदाहरण प्रस्तुत किया है, और मै, उन्हे हम सब की ओर से हृदय से धन्यवाद देता हूँ और अभिनंदन करता हूं ।

    सामाजिक संगठनों के कार्य का समग्र मूल्यांकन करने का यह सही अवसर है।

    हमारे देश में दान देने वाले लोगों की कभी कोई कमी नहीं रही है।

    शास्त्रों में दान को पुण्य कार्य कहा गया है ।

    देश के हर नगर, शहर में तथा गांव, देहातों में भी आपको दानवीर लोगों दवारा किये गये कार्य – पाठशाला, धर्मशाला, अस्पताल के रूप में आज भी मौजूद है ।

    मुंबई महानगर में तो अनेक सार्वजनिक संस्थान दानवीर व्यक्ती यों द्वारा अथवा पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप के माध्यम से बने है ।

    शहर के अनेक अस्पताल चैरिटी हॉस्पिटल है, जिसकी वजह आम आदमी को कम खर्चे में स्वास्थ्य सुविधाएं मिलती है ।

    प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश हर क्षेत्र में नई ऊंचाइयां छू रहा है ।

    इस चौपाल के माध्यम से जिस प्रकार से हमारे सामाजिक संगठनों द्वारा कार्य किया जा रहा है, उसे समझने और दुनिया के सामने रखने की आवश्यकता है ।

    मुझे जानकारी मिली हैं की सेवा सहयोग और सेवा इंटरनेशनल द्वारा शिक्षा, महिला सशक्तीकरण, रोजगार संवर्धन, इन क्षेत्रों में बहुत अच्छा कार्य हो रहा है ।

    सेवा इंटरनेशनल तो इन कार्यो के साथ आपदा प्रबंधन का भी आंतरराष्ट्रीय स्तर पर कार्य कर रहा है ।

    यह संयोग मात्र नहीं है कि यह दोनों संस्थाएं इस चौपाल का मुंबई में आयोजन कर रही है ।

    वेलिंगकर स्कूल (we school) के सुंदर प्रांगण में और मार्गदर्शन में हो रहा यह कार्यक्रम निश्चित ही दिशा दर्शक सिद्ध होगा ऐसा मुझे विश्वास है ।

    यह सराहनीय बात है की आपने सिविल सोसायटी से सम्बंधित सभी घटकों को आज यहा चर्चा के लिये बुलाया हैं ।

    जहाँ तक मुझे जानकारी हैं यहाँ स्वयंसेवी संस्था एवं कंपनी के प्रतिनिधि, शिक्षाविद, और सरकारी अधिकारी यह सब मिलकर इस क्षेत्रके सामने आनेवाले चुनौतियों और उसपर उपायों की भी चर्चा करने वाले हैं।

    एक तरफ हम प्रगति की ओर अग्रसर हो रहे तो दूसरी ओर आज भी समाज के कुछ वर्ग, जैसे वनवासी, आदिवासी, पिछड़े हुए हैं ।

    उन सभी वर्गों को देश की मुख्यधारा में लाने का भरसक प्रयास करने की आवश्यकता हैं।

    यह काम केवल सरकारी स्तर पर नहीं हो सकता अपितु समाज का सहयोग इस कार्य में आवश्यक हैं।

    यह कार्य व्यक्तिगत रूप से हो सकता है , उसी तरह CSR के द्वारा भी अधिक गति से हो सकता है ।

    CSR द्वारा हो रहे कार्य की दिशा यह शाश्वत परिवर्तन लाने की होनी चाहिए ।

    जिस तरह की शिक्षा एवं स्वास्थ्य की सुविधाएं शहरी लोगों को मिलती हैं, उसी तरह की सुविधाएं ग्रामीण तबके के लोगों को भी मिले ऐसा प्रयास हो जिस से हमारा समाज आगे बढ सके।

    आज शिक्षा, स्वास्थ्य, पर्यावरण, आपदा प्रबंधन इन विषयों पर हम सबको सजग होने की और साथ मिलकर काम करने की आवश्यकता है।

    पर्यावरण संतुलन हमारे लिए बहुत महत्वपूर्ण चुनौती है और इसमें सामाजिक संगठनों की भूमिका अहम है ।

    ग्लोबल वार्मिंग सिर्फ भारत की नहीं , पुरे विश्व की समस्या है । ग्लोबल वार्मिंग के कारण हर देश मुश्किलों का सामना कर रहे है । कही सूखा, कही बाढ़ , कही बेमौसम बर्फबारी, लेंडस्लाईड, आदी घटनाए हो रही है ।

    आप सभी विषयों का चौपाल में विचार विमर्श करेंगे ऐसा मुझे विश्वास हैं ।

    इस कार्यक्रम की सफलता के लिए मैं आप सभी को शुभकामना देता हूँ ।

    धन्यवाद
    जय हिंद । जय महाराष्ट्र ।।